उदयपुर का घाट जहाँ भरता है गणगौर का प्रसिद्ध मेला - Gangaur Ghat Udaipur

उदयपुर का घाट जहाँ भरता है गणगौर का प्रसिद्ध मेला - Gangaur Ghat Udaipur, इसमें उदयपुर में बागोर की हवेली के पास गणगौर घाट के बारे में जानकारी दी है

Gangaur Ghat Udaipur

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उदयपुर की पिछोला झील के साथ-साथ इसके कुछ घाट भी काफी प्रसिद्ध है। इन घाटों में दो घाट बहुत ज्यादा प्रसिद्ध है जिन्हें पिछोला झील देखने वाला लगभग हर टूरिस्ट अवश्य देखता है।

इन दो घाटों में एक है गणगौरी घाट और दूसरा है अमराई घाट। इन दोनों घाटों का अपना सांस्कृतिक महत्व होने के साथ-साथ टूरिज्म की दृष्टि से भी काफी महत्व है।

आज हम गणगौरी घाट के बारे में बात करते हैं। गणगौरी घाट को गणगौर घाट के नाम से भी जाना जाता है। यह घाट सिटी पैलेस के पास जगदीश मंदिर के पीछे की तरफ पिछोला झील के किनारे पर बना हुआ है।

इस घाट के बगल में उदयपुर का एक प्रमुख टूरिस्ट डेस्टिनेशन बागोर की हवेली बनी हुई है। उदयपुर रेलवे स्टेशन से यहाँ की दूरी लगभग साढ़े तीन किलोमीटर है।

घाट तक जाने के लिए तीन बड़े दरवाजों से होकर गुजरना पड़ता है। इन दरवाजों को गणगौर घाट के त्रिपोलिया के नाम से जाना जाता है।

इन तीनों दरवाजों पर बहुत सुन्दर नक्काशी की हुई है। दरवाजों के ऊपर काँच की कारीगरी से सुसज्जित महल बना हुआ है।


इस घाट का निर्माण महाराज नाथ सिंह के वारिस महाराज भीम सिंह ने उन्नीसवीं शताब्दी में करवाया था। बाद में महाराज शक्ति सिंह ने वर्ष 1878 में गणगौर घाट के त्रिपोलिया पर काँच की कारीगरी से सज्जित महल का निर्माण करवाया।

घाट पर से पिछोला झील का बहुत सुन्दर नजारा दिखाई देता है। इस घाट पर कई फिल्मों और टीवी शोज की शूटिंग हो चुकी है।

शाम के समय यहाँ का मौसम बड़ा सुहावना हो जाता है और डूबते सूरज को देखना बड़ा अच्छा लगता है। यहाँ पर टूरिस्टों की भरमार रहती है।

घाट पर बहुत से कबूतर बैठे रहते हैं जो पर्यटकों की आवाजाही से बीच-बीच में उड़ते रहते हैं। इन उड़ते कबूतरों के साथ फोटो शूट करवाना भी पर्यटकों को काफी पसंद आता है।

एक सांस्कृतिक केंद्र के रूप में इस घाट पर कुछ प्रमुख त्योहार मनाये जाते है। इन त्योहारों में गणगौर फेस्टिवल और जल झूलणी एकादशी प्रमुख है। गणगौर का त्योहार तो गणगौर महोत्सव के रूप में बड़े धूम धाम से मनाया जाता है।

गणगौर महोत्सव कई दिनों तक चलने वाला त्योहार है जिसमें शहर के अलग-अलग भागों से जुलूस के रूप में गणगौर की सवारी के साथ-साथ राज परिवार के प्रतिनिधि भी मूर्तियों को शाही नाव पर रखकर महल के बंशी घाट से गणगौर घाट पर लाते हैं।

अगर आप उदयपुर के भ्रमण पर जा रहे हैं तो आपको गणगौर घाट पर जाकर इसकी सुन्दरता के साथ-साथ इसके शांत वातावरण को भी देखना चाहिए।

गणगौर घाट की मैप लोकेशन - Map Location of Gangaur Ghat



गणगौर घाट का वीडियो - Video of Gangaur Ghat




लेखक (Writer)

रमेश शर्मा {एम फार्म, एमएससी (कंप्यूटर साइंस), पीजीडीसीए, एमए (इतिहास), सीएचएमएस}

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Ramesh Sharma

My name is Ramesh Sharma. I love to see old historical monuments closely, learn about their history and stay close to nature. Whenever I get a chance, I leave home to meet them. The monuments that I like to see include ancient forts, palaces, stepwells, temples, chhatris, mountains, lakes, rivers etc. I also share with you the monuments that I see through blogs and videos so that you can also benefit a little from my experience.

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